डिजिटल मार्केटिंग क्या है hindi| Digital Marketing in

 डिजिटल मार्केटिंग क्या है | Digital Marketing in hindi

डिजिटल मार्केटिंग क्या है (फायदे, नुकसान, कोर्स, करियर, बिजनेस, फीस) (Digital Marketing in hindi, Career, Course, Agency, Types, Salary)

आजकल हर काम लोग इंटरनेट के माध्यम से अपने मोबाइल एवं लैपटॉप से ही कर रहे हैं. जैसे किसी को पैसे का भुगतान करना हो, बिल भरना हो, गाड़ी, होटल या फिर टिकेट बुक करना हो, खाना मंगाना हो आदि. इन सभी चीजों के अलावा आजकल लोगों ने अपना पैसे कमाने का साधन भी मोबाइल एवं लैपटॉप को ही बना लिया है. हाँ जी आज के समय में लोग डिजिटल मार्केटिंग के माध्यम से पैसे कमाते हैं. यह इन दिनों ट्रेंड में भी चल रहा है, और यहाँ तक कि लोग नौकरी छोड़ कर इस बिज़नेस में लाखों ही नहीं बल्कि करोड़ों में कमाई भी कर रहे हैं. चलिए इस लेख में हम आपको डिजिटल मार्केटिंग क्या हैं और कैसे लोग इसमें अपना करियर बना रहे हैं इसकी जानकारी देते हैं.

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Table of Contents

डिजिटल मार्केटिंग क्या है

डिजिटल मार्केटिंग आम भाषा में ऑनलाइन व्यवसाय कहलाता हैं. इसमें विभिन्न विज्ञापनों की पोस्टिंग के साथ में सर्च इंजन ऑप्टिमाइजेशन (एसईओ), सर्च इंजन मार्केटिंग (एसईएम) एवं कॉपी राइटिंग जैसी कुछ चीजें भी जुड़ी होती हैं. एक तरफ एसईओ में किसी कंटेंट को गूगल सर्च में सबसे ऊपर पहुँचाने के लिए काम किया जाता हैं, तो दूसरी ओर एसईएम में गूगल पर एड्स पोस्ट किये जाते हैं. ये सभी काम डिजिटल मार्केटिंग के अंतर्गत आते हैं. इसमें विभिन्न तरह के नौकरी के अवसर होते हैं जिसमें लोग अपना भविष्य देख रहे हैं.

डिजिटल मार्केटिंग में करियर बनने की विभिन्न प्रोफाइल

डिजिटल मार्केटिंग करके लोग निम्न क्षेत्रों में अपना भविष्य सुनिश्चित कर सकते हैं जोकि इस प्रकार हैं –

डिजिटल मार्केटिंग मैनेजर :-

यह सबसे बड़ी पोस्ट में से एक होती है. आप किसी प्रोडक्ट या सर्विस का प्रचार कैसे करेंगे, इसकी योजना बनाने का काम डिजिटल मैनेजर का होता है. दरअसल हर कंपनी की एक डिजिटल मार्केटिंग टीम होती हैं. इस टीम लीड करने का काम उन लोगों को दिया जाता हैं, जिन्हें इस काम को करने का कम से कम 5 साल का अनुभव होता है. उन्हें इसका सर्टिफिकेट भी प्राप्त होता है.  

सर्च इंजन ऑप्टिमाइजेशन (एसईओ) :

जरुरी नहीं है कि किसी इंटरनेट यूजर्स तक प्रोडक्ट या सर्विस की जानकारी पहुँचाने के लिए एड्स का सहारा लिया जाये. यह इसके बिना भी हो सकता है. उदहारण के लिए जब आप आप गूगल पर कुछ सर्च करते हैं जैसे कि ‘टॉप इंजीनियरिंग कॉलेज इन इंडिया’, तो गूगल सर्च रिजल्ट में इसकी एक सूची खुल जाती है. यह बिना किसी ऐड के होता है. एसईओ द्वारा ही क्वालिटी कंटेंट वाली पोस्ट को गूगल पर टॉप में पहुँचाया जाता है. इसके लिए उसे कीवर्ड रिसर्च, वेबमास्टर टूल, यूजर एक्सपीरियंस ऑप्टिमाइजेशन जैसी चीजों पर काम करना होता है.  

सोशल मीडिया मार्केटिंग एक्सपर्ट :

जैसा कि नाम से ही समझ आ रहा हैं कि जो लोग विभिन्न वेबसाइट्स, पोर्टल्स एवं सोशल मीडिया साइट्स के माध्यम से मार्केटिंग काम करते हैं वे सोशल मीडिया मार्केटिंग एक्सपर्ट कहलाते हैं. मार्केटिंग की फील्ड में किसी कंटेंट का 2 तरीके से प्रमोशन किया जाता है. एक तो यह कि वह कंटेंट ज्यादा से ज्यादा लोगों को शेयर किया जाये या फिर एड्स की पोस्टिंग करते हुए उसका प्रोमोशन किया जाये. और दूसरा सबसे ज्यादा चलने अली सोशल मीडिया साइट्स पर विज्ञापन को पोस्ट किया जाये. इसके लिए जरुरी नहीं कि आपके पास विशेष कौशल हो. इसी लिए इसकी मांग ज्यादा होती है.  

कॉपी राइटर :

मार्केटिंग के लिए सबसे जरुरी है कंटेंट. चाहे आप किसी सोशल मीडिया के माध्यम से प्रोमोशन करें या एसईओ के माध्यम से, जब तक कंटेंट अच्छा नहीं होता, तब तक व्यूअर्स तक पहुँच बना पाना मुश्किल है. इस फील्ड में कॉपी राइटर का काम होता हैं टीम की मदद करना जोकि कंटेंट को बेहतर बनाने के काम करते हैं.

मोबाइल से लैपटॉप एवं कंप्यूटर में वाई–फाई हॉट्सपॉट के जरिये चला सकते हैं इंटरनेट.

डिजिटल मार्केटिंग का कोर्स

डिजिटल मार्केटिंग का कोर्स विभिन्न इंस्टिट्यूट में होता है. जैसे कि दिल्ली स्कूल ऑफ इंटरनेट मार्केटिंग, मणिपाल में स्थित ग्लोबल एजुकेशन सर्विस, एआईएम, एनआईआईटी, द लर्निंग कैटलिस्ट मुंबई आदि. इनमें से आप किसी भी इंस्टिट्यूट में कोर्स पूरा करके विभिन्न फील्ड में जॉब कर सकते हैं जैसे कि डिजिटल मार्केटिंग एजेंसी, ई – कॉमर्स कंपनियां, ऑनलाइन शॉपिंग वेबसाइट्स, सर्विस प्रोवाइडर कंपनी, रिटेल एवं मार्केटिंग कंपनी आदि.         

डिजिटल मार्केटिंग में कामयाबी हासिल करने वाले पवन अग्रवाल की कहानी

डिजिटल मार्केटिंग फील्ड में ब्लॉगिंग करने वाले हमारे इस वेबसाइट के ओनर मिस्टर पवन अग्रवाल की कामयाबी की कहानी हम यहाँ आपसे शेयर कर रहे हैं. पवन अग्रवाल जी आईटी कंपनी टीसीएस में जॉब किया करते थे, उनकी जॉब बहुत अच्छी थी. किन्तु उन्हें जब डिजिटल मार्केटिंग प्लेटफॉर्म के बारे में पता चला, तो उन्हें इसमें अपना करियर बनाने का आईडिया आया. और फिर उन्होंने टीसीएस की नौकरी छोड़ कर एक वेबसाइट का निर्माण किया और ब्लॉगिंग का बिज़नेस करना शुरू किया. शुरुआत में काफी मुश्किलें हुई जब उनके ब्लॉग गूगल पर रैंक नहीं हो रहे थे. उन्हें काफी नुकसान भी हुआ. किन्तु धीरे – धीरे इस पर बहुत रिसर्च एवं काम करने के बाद उन्हें कामयाबी हासिल होनी शुरू हुई. अब वे केवल ब्लॉगिंग के माध्यम से प्रतिमाह 4 लाख रूपये तक की कमाई करते हैं.

FAQ’s

Q : डिजिटल मार्केटिंग का मतलब क्या है ?

Ans : डिजिटल मार्केटिंग इंटरनेट, मोबाइल डिवाइसेस, सोशल मीडिया, सर्च इंजन और अन्य माध्यमों से यूजर पर पहुंचना है.

Q : डिजिटल मार्केटिंग कहां से सीखें ?

Ans : डिजिटल मार्केटिंग का कोर्स करके

Q : डिजिटल मार्केटिंग कोर्स कितने महीने का होता है ?

Ans : 6 महीने

Q : क्या डिजिटल मार्केटिंग एक अच्छा करियर है ?

Ans : हां, इसमें बहुत स्कोप है.

Q : क्या डिजिटल मार्केटिंग करना आसान है.

Ans : हाँ

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